अपनों से उम्मीद और
भरोसा तोड़ने वाली शायरी
Umeed Aur Bhaose Per Shayari
हेलो दोस्तों यहाँ हम आपके लिए लाये हैं भरोसा शायरी (bharosa shayari) की रचनाएँ। दोस्तों जिंदगी में बहोत से मोड़ ऐसे आते हैं जब हम किसी पर बहोत भरोसा या कहें की यकीं करने लगते हैं। हम उसे इतना अपना मान लेते हैं की हमे लगने लगता है की वो हमारे हर दुःख दर्द को समझता है परन्तु वो वक़्त हमारे लिए बड़ा दुख देने वाला होता है जब वो हमारा भरोसा तोड़ता है। ऐसे में अपनी भावनाएं व्यक्त करना मुश्किल हो जाता है।
ऐसे में काम आती हैं भरोसे पर शायरी की रचनाएँ जो कहीं न कहीं हमारा दर्द बयां करती हैं एम् सी एम् इजी लाइफ पर हम लाये हैं ऐसी ही भरोसा तोड़ने वाली शायरी जो आपको अच्छी लगेगी और इन्हें आप अपनों के साथ शेयर भी कर सकते हैं और भरोसा शायरी status शायरी मान कर भी इस्तेमाल कर सकते हैं।
भरोसे पर शायरी की बेहतरीन रचनाएँ
भरोसा टूटा
(Bharosa Tuta)
एक उसने क्या भरोसा तोडा। .. सारी दुनिया फरेबी लगती है…
Ek usne kya bharosa toda … saari duniya farebi lagti hai.
(बात सच है दोस्तों जब कोई हमारा विश्वाश हमारा भरोसा तोड़ता है तो बड़ा दुःख होता है उसके बाद तो जैसे दुनिया झूठी लगने लगती है। ऐसी हालत की तो क्या ही बात करें फिर तो दुनिया की कसमों से भी भरोसा उठ जाता है। )
भरोसे पर शक
(Bharose per Shak)
कैसे कह दें तुम्हे अपना हमे अपने भरोसे पर शक है… और शक पर भरोसा।
Kaise keh dein tumhein apna…. Hume apne bharose per shak hai…. Aur shak per bharosa
( गज़ब हालत होती है दोस्तों जब हमे कोई अपना, जिसे हमने चाहा हो यदि वो हमारे साथ फरेब कर रहा हो तो फिर उसे अपना बनाने को दिल नहीं मानता, हमे तो उस पर करे भरोसे पर शर्म आने लगती है। और सोचते है की उसकी हरकतों पर पहले शक क्यों नहीं हुआ। मगर ये ही तो बात है दोस्तों जब एक बार किसे से प्यार हो जाये तो फिर उसकी कमियां ढूंढ़ना मुश्किल होता है। )
दुनिया का क्या भरोसा
(Duniya ka Kya Bharosa}
अब इस दुनिया पर क्या भरोसा करू … मुझे बर्बाद करने वाले तो मेरे अपने ही थे।
Ab is duniya pr kya bharosa karun…. Mujhe barbaad karne wale to…. mere apne he thy.
( सही बात है दोस्तों किसी को बर्बाद और तन्हां करने में दुनिया से ज्यादा किसी अपने करीबी का ही हाथ होता है। दुनिया से भी क्या गिला करना जब भरोसा तोड़ने वाले अपने ही हों। वो कहा भी गया है न दोस्तों की अपने ने हमे लूटा गैरों में कहाँ दूँम था। )
भरोसे में धोखा
(Bharose mein Dhokha)
मेरे भरोसे की तो क्या बात करू…. वक़्त आने पर तो हिरन को भी रेगिस्तान में पानी नजर आने लगता है।
Mere Bharose ki to kya baat karun… Waqt aane pr to hiran ko bhi Registhan (Desert) mein pani nazar aane lagta hai.
( सही में दोस्तों भरोसा टूटना तो हिरन का है जो पानी की तलाश में होता है और उसे रेगिस्तान में चमकती रेत पानी जैसी लगती है, उस वक़्त उसे कितना भरोसा होता है खुद पर मगर जब वो वहां जाता है तो जो हालत उस हिरन की होती होगी वो कथन से बाहर है। ठीक ऐसे ही जब किसी अपने पर हमे पूरा भरोसा हो और वो उसे तोड़ दे तो हालत उस हिरन जैसे ही होती है। )
किसी पर भरोसा
(KIsi per Bharosa)
बात भरोसे की न कर ऐ दिल किसी और से… शर्मिंदा हो जाएगा अगर देखेगा उस अपने को गौर से।
Baat Bharose ki na kar E dil kisi aur se… sharminda ho jayga agar dekhega us apne ko goor se..
( सही में दोस्तों गैरों से शिकवा क्या करना जब भरोसा किसी अपने ने तोडा हो। फिर तो खुद पर ही गुस्सा आने लगता है कि आखिर उस फरेबी को पहचानने में गलती कैसे हो गई। )
भरोसा होना जरूरी है
(Bharosa hona Jaroori Hai)
भरोसा हो तो रिश्ते मजबूत हो जाते हैं … और अगर न हो तो हर अपना पराया लगने लगता है ।
Bharosa ho to riste majboot ho jaate hain…. Aur agar na ho to har apna paraya lagne lagta hai…
(बात सही है दोस्तों भरोसा है तो सब कुछ है और भरोसा नहीं तो कुछ भी नहीं। जब किसी पर भरोसा करते हैं तो फिर हमारे और उसके बीच किन्तु परन्तु नहीं आता परन्तु यदि एक बार वो भरोसा टूट जाए तो फिर तो साड़ी दुनिया झूठी लगने लगती है। फिर तो दिल ये हे कहता है कि चाहे बिना किसी साथी के जीना पड़े पर किसी पर भरोसा मत करो। )
दोस्तों उम्मीद है आपको हमारे द्वारा प्रस्तुत भरोसे पर शायरी पसंद आ रही होगी। दोस्तों किसी भी रिश्ते को कामयाब बनाने के लिए अपनों पर भरोसा और पक्का विश्वास होना बहोत ज़रूरी है। आप भरोसे पर शायरी (shayari on bharosa) के साथ साथ विश्वाश पर शायरी भी पढ़ सकते हैं।
